क्या किसी अदाकारा की पहचान उसका हेयर स्टाइल हो सकता है …जबाब हां भी हो सकता है और ना भी …लेकिन आज हम जिस अभिनेत्री की बात करने जा रहे हैं उसका हेयर स्टाइल अभिनय से ज्यादा चर्चित रहा …साल 1960 में आई फिल्म लव इन शिमला के बाद उस हिरोइन का हेयरकट एक स्टाइल स्टेटमेंट बन गया था …आप समझ गये होंगे कि हम आपसे किसकी बात करने जा रहे हैं …ये कोई और नहीं बल्कि सिल्वर स्क्रिन की स्टाइलिस्ट हेयर वाली साधना हैं …एक वक्त रहा तब साधना कट हेयर एक जुमला हो गया था …इसी स्टाइलिस्ट फिल्मी अभिनेत्री के जीवन सफर से आपको बताने जा रहे है … जिसकी फिल्मे तेरा मेरा प्यार अमर… लग जा गले … बेदर्दी बालमा जैसे बेहतरीन गानों में अपने हुस्न का जलवा बिखेरा…..और देखते ही देखते करोड़ो दिलों की धड़कन बन गई …साल 1955 में एक चर्चित फिल्म आई.. फिल्म का नाम था श्री 420 …जी हां इसी फिल्म से साधना ने अपने फिल्मी करियर की शुरुआत की… साधना का जन्म 2 सितंबर 1941 को पाकिस्तान के कराची में हुआ था….साधना का पूरा नाम साधना शिवदासानी था ..उनके पिता का नाम शेवाराम और माता का नाम लालीदेवी था…… माता-पिता की एकमात्र संतान होने के कारण साधना का बचपन बड़े हीं लाड़ प्यार के साथ बिता ..1947 में भारत के बंटवारे के बाद उनका परिवार कराची छोड़कर मुंबई आ गया …. उस समय साधना की आयु महज 6 साल की रही होगी…..साधना का नाम उनके पिता ने अपने समय की पसंदीदा अभिनेत्री ‘साधना बोस’ के नाम पर रखा..
साधना ने जब अपने करियर की शुरुआत
उस वक़्त वो केवल 15 साल की थीं …फिल्मी दुनिया में आने के पहले साधना कॉलेज के ड्रामा में हिस्सा लेने लगीं थी…..साधना की प्रतिभा ज्यादा दिन तक लोगों की नजर से छुप नहीं सकी…..इसी बीच एक प्रोड्यूसर की नजर साधना पर पड़ी …साधना ने एक रुपये का टोकन मनी देकर साधना को अपनी सिंधी फिल्म अबाना के लिए साइन कर लिया… लेकिन यहां भी साधना की चुनौति कम नहीं हुयी …यहां भी किस्मत ने उनके साथ एक अलग ही खेल खेला….फिल्म के प्रमोशन के दौरान उनकी एक तस्वीर मैगजीन में छपी हुई थी… तब उस जमाने के मशहूर प्रोड्यूसर शशिधर मुखर्जी की नजर उनकी तस्वीर पर गईं जो उस वक़्त बहुत बड़े फ़िल्मकार थे…इस सिंधी ख़ूबसूरत बाला को शशिधर मुखर्जी ने अपनी फिल्म के लिए साइन कर लिया…. बस फिर क्या था शशिधर मुखर्जी की फिल्म ‘लव इन शिमला’ से साधना को वो पहचान मिली कि फिर पीछे मुड़कर देखने की नौबत नहीं आयी …लव इन शिमला साधना के फिल्मी सफर का वो मोड़ रहा जहां से साधना रातों रात स्टार बन गई …..फैंस उनके हेयरस्टाइल से लेकर उनके कपड़ों को भी कॉपी करने लगे… इस फिल्म को आरके नय्यर ने निर्देशित किया ….ये फिल्म ब्लॉकबस्टर हिट साबित हुई ….लव इन शिमला के बाद साधना एक के बाद एक कई शानदार फिल्मों में अपने अभिनय का जादू बिखेरा …..’मेरा साया’, ‘आरजू’, ‘एक फूल दो माली’, ‘लव इन शिमला’, ‘वक्त’ और ‘वो कौन थी’ जैसी हिट फिल्में साधना के नाम रही …हिंदी सिनेमा में योगदान के लिए…..
साधना को अंतर्राष्ट्रीय भारतीय फ़िल्म अकादमी ने 2002 में लाइफटाइम अचीवमेंट पुरस्कार से सम्मानित भी किया …
आपको बता दे कि जब साधना अपनी फिल्म लव इन शिमला के सेट पर शूटिंग के लिए तैयार हो रही थीं तभी डायरेक्टर आर.के.नय्यर ने साधना को अपना हेयर स्टाइल बदलने के लिए कहा … दरअसल, साधना का माथा चौड़ा था ..डायरेक्टर का मानना था कि अगर उनके माथे पर कुछ जुलफें आ जाएं….. तो उनकी खूबसूरती और बढ़ जाएगी… साधना ने यहीं से अपने हेयर स्टाइल को एक नया लुक दिया जो इतना पॉपुलर हुआ कि आज भी लोग उसे साधना हेयर कट के नाम से जानते है…… साधना का यही हेयर स्टाइल उनकी पहचान बन गई……राज कपूर की फिल्म श्री 420 सेट पर साधना और राज कपूर की छोटी सी बात पर हुयी अनबन भी उस वक्त काफी सुर्खियों में रही….. इसके बाद से ही साधना राज कपूर को नापसंद करने लगी …कहा जाता है कि सेट पर वो अपने हेयरस्टाइल पर खास ध्यान देती थीं ….जो राजकपूर को बिल्कुल पसंद नहीं रहा… ऐसे में आखिरकार राज कपूर ने सेट पर हीं साधना को डांटते हुये एक्टिंग छोड़कर शादी करने की बात कह दी जो साधना को नागवार गुजरी और वो फिल्म का सेट छोड़कर वहां से चली गईं… 60 और 70 के दशक में जहां साधना के दिवानो की कोई कमी नहीं रही….वहीं साधना का दिल अपनी ही फिल्मों के डायरेक्टर आर के नय्यर पर आ गया ….. और बाद में साधना ने नय्यर से हीं शादी कर ली …दरअसल साधना को अभिनेत्री साधना बनाने में आर के नय्यर का बहुत बड़ा हाथ रहा …30 साल की शादी के बाद आर.के.नय्यर की मौत हो गयी और उसके बाद साधना बिल्कुल अकेले हो गई ….ये भी इत्तेफाक रहा कि साधना की कोई संतान नहीं होने की वजह से अपनी पूरी जिंदगी अकेले ही बिताई…..लाइफ के अंतिम दिनों में उनके घर पर मुकदमा चलने लगा और वो अदालत का चक्कर काटने को भी मजबूर हो गयीं ….अपने जीवन के आखिरी वक्त साधना के लिये बेहद दुखदायी रहा …वो कैंसर की शिकार साधना 25 दिसंबर 2015 इस दुनिया से रुख्शत हो गयीं …बुझ गया फिल्मी आकाश का एक चमकता सितारा हमेशा के लिए…और छोड़ गयी हमसबके लिये अपनी अदायगी..